Martial Arts कलारीपयट्टू में मिशा तीन साल से प्रदेश को दिला रही पदक

कलारीपयट्टू खेल को आज भी कम लोग ही जानते है

रायपुर। कहते है कि जब आप किसी चीज को करने की ठान लेते हो तो उसके लिए पूरी मेहनत लगा देते हो और एक समय बाद वो आपकी मिल जाती है कुछ ऐसा ही किया है कोरबा की मिशा सिंधु ने जो बीते 3 साल से छत्तीसगढ़ को कलारीपयट्टू खेल में लगातार पदक दिला रही है। 19 साल की मिशा सिंधु कहती हैं कि लड़कियों को यदि मौका मिलेगा तो वे हर क्षेत्र में अच्छा कर सकती है। पहले मैं म्यूथाई और थाई बाक्सिंग करती थी लेकिन जब देखा कि सरकार इस खेल की और ज्यादा ध्यान नहीं देती तब मैंने कलारीपयट्टू को सीखने का मन बनाया। कलारीपयट्टू खेल को आज भी कम लोग ही जानते है। उसी समय मैंने सोचा कि इसे ही लोगों के सामने लाना चाहिए। मिशा अब खेल के साथ ही दिल्ली में बी.ए.ग्रेज्युएशन कोर्स कर रही हैं।

हाइलाइट्स………..

कलारीपयट्टू केरल का मार्शल आर्टस है और इसे मार्शल आर्टस की जननी कहा जाता है।

कोरबा की मिशा तीन साल से जीत रही पदक।

सेल्फ डिफेंस के तौर पर लोगों के सामने इसे रखा।

2018 वर्ल्ड यूथ म्युथाई चैैपियनशिप में सिल्वर मेडल।

2019 में एशियन म्युथाई चैपियनशिप में गोल्ड मेडल।

साल 2025 में 38 वें नेशनल गेम में गोल्ड मेडल मिला।

मिला मौका, हुई सफल

मिशा कहती हैं कि मेरे कोच कमलेश देवागंन ने हमें खेल की बारीकियां सिखाई। उनके सिखाने के तरीके से ही खेल में हमारी रूचि बढ़ी। सर की मेहनत और मेरी मेहनत का ही परिणाम था कि मुझे पहली बार ही सफलता मिली। सेल्फ डिफेंस के तौर पर लोगों के सामने इसे रखा। साल 2021 में दल्लीराजहरा में टे्रनिंग कैंप लगा वहा कलारीपयट्टू सीखा फिर केरल जाकर ट्रेनिंग ली और पहली ही बार नेशनल में ब्रांज मेडल मिला। उसके बाद तो लगातार पदक जीतने का सिलसिला शुरू हो गया।

2023 में गोवा में हुए नेशनल गेम में स्टिक फाइट में गोल्ड और ब्रांज मेडल मिले। साल 2025 में 38 वें नेशनल गेम में गोल्ड मेडल मिला।

2018 वर्ल्ड यूथ म्युथाईचैैपियनशिप में सिल्वर मेडल और 2019 में एशियन म्युथाईचैपियनशिप में गोल्ड मेडल मिला।

परिवार का मिला साथ

मिशा कहती हैं कि यदि आप में हुनर है और घर से आपको सपोर्ट मिलता है तो आपकी सफलता तय होती है। मेरे पिता तो मेरे लिए बेकार पड़ी चीजों से ही खेल का सामान बना देते थे। हम लोग सामान्य परिवार से आते है। मेरा ऐसा मानना है कि खेल आपको मानसिक तौर पर सेहतमंद रखता है। इसके साथ ही आपके अंदर आत्मविश्वास भी बढ़ता है। मुझे किसी से डर नहीं लगता ।

मार्शल आर्टस की पुरानी विधा

केरल से आने वाला यह कलारीपयट्टू दुनिया का सबसे पुराना मार्शल आर्ट है, कलारी”का अर्थ होता है “युद्ध का मैदान”। कलारीपयट्टू में चाट्टम (कूद), ओट्ट्म (दौड़), और मरिचिल(कलाबाज़ी) जैसी गतिविधियां होती है। इसमें तलवार, कटार, भाला, मुग्दर और धनुष-बाण जैसे हथियारों का इस्तेमाल करना भी सिखाया जाता है।

admin

बीते 24 सालों से पत्रकारिता में है इस दौरान कई बडे अखबार में काम किया और अभी वर्तमान में पत्रिका समाचार पत्र रायपुर में अपनी सेवाए दे रही हैं। महिलाओं के मुद्दों पर लंबे समय से काम कर रही है।
Back to top button